2 News : नागरिकता के लिए ट्रॉल होने पर सोनी ने दिया यह जवाब, सैनिकों की पत्नियों के लिए प्रेरणा थीं इस एक्ट्रेस की मां
जब से एक्ट्रेस आलिया भट्ट की मां एक्ट्रेस सोनी राजदान ने भारत-पाकिस्तान तनाव के बीच संघर्ष विराम (सीजफायर) की अपील को लेकर पोस्ट शेयर की है तब से दोनों की ब्रिटिश नागरिकता पर सवाल उठ रहे हैं। सोनी ने अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर लिखा था, “सबसे ऊपर - शांति याचिका पर हस्ताक्षर करें। बायो में लिंक।” हालांकि बाद में उन्होंने ट्रॉल होने पर अपनी पोस्ट हटा दी। इसके बावजूद नेटिजंस सोनी पर लगातार निशाना साध रहे हैं। वे देश के प्रति उनकी और आलिया की वफादारी पर सवाल उठा रहे हैं।
इस पर सोनी ने अपनी पोस्ट को लेकर सफाई देते हुए लिखा, “शांति के लिए मेरी अपील भारत से नहीं बल्कि पाकिस्तान से थी। आखिरकार वे हमलावर हैं। हम बस जवाबी कार्रवाई कर रहे हैं और यह सही भी है। मुझे लगता है कि लोगों ने जल्दबाजी में निष्कर्ष निकाल लिया है। साथ ही यह एक जर्नलाइज्ड बयान था। उम्मीद है कि इससे स्थिति स्पष्ट हो गई होगी। मैं भी बाकी सभी लोगों की तरह ही हताश हूं। युद्ध एक भयानक चीज है। कोई भी व्यक्ति जो युद्ध से गुजरा है, वह किसी और के लिए ऐसा नहीं चाहेगा।”
इसके बाद एक यूजर ने लिखा, “विश्वास नहीं होता कि आप ‘राजी’ जैसी फिल्म का हिस्सा थीं। कृपया अपनी फिल्म को फिर से देखें और फिर शांति की अपील करें।” इस पर सोनी ने लिखा, “शांति दो देशों के बीच होनी चाहिए, जब तक कि आप यह न सोचें कि यह युद्ध पाकिस्तान अपने आप से लड़ रहा है?” अपनी और आलिया की ब्रिटिश सिटिजनशिप और भारत के प्रति प्यार को लेकर उठ रहे सवालों पर सोनी ने लिखा, “लोगों से नफरत के खिलाफ वोट करने का आग्रह करना नागरिकता से संबंधित नहीं है, बल्कि यह सब इंसान होने से संबंधित है। हम सभी पहले इंसान हैं और जिस दुनिया में हम रहते हैं, उसके नागरिक हैं। धर्मनिरपेक्षता और लोकतांत्रिक सिद्धांत मूल्य हैं और मैं उन्हीं के लिए खड़ी हूं। #वोटआउटहेट।”
एक्ट्रेस सेलिना जेटली इन दिनों एक्टिंग की दुनिया में कम ही एक्टिव हैं। सेलिना ने मदर्स डे के मौके पर अपनी मां मीता जेटली को याद करते हुए एक लंबी पोस्ट लिखी। सेलिना ने बताया कि कैसे उनकी मां जवानों की पत्नियों को पढ़ाई के लिए प्रेरित करती थीं। सेलिना ने कहा कि उनकी मां का जीवन उनके बलिदानों से परिभाषित होता है। सेलिना ने इंस्टाग्राम पर एक तस्वीर शेयर करते हुआ लिखा, “हैप्पी मदर्स डे-हमारी मां होने से पहले, वो एक सोल्जर की बेटी और गौरवान्वित आर्मीमैन की पत्नी थीं।
सेना के जीवन की अथक मांगों और मेरे पिता की अनगिनत फील्ड पोस्टिंग के बावजूद, उन्होंने अपने एकेडमिक सपनों को दृढ़ संकल्प के साथ पूरा किया। उन्होंने न केवल मनोविज्ञान में डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की, बल्कि दो मास्टर डिग्री भी हासिल कीं। और फिर भी उन्होंने अपने निजी सपनों से ऊपर बलिदान वाले जीवन को चुना। एक स्टनिंग सुंदर महिला जिन्होंने अपने जीवन का अधिकांश समय एक ऐसे पति की बहादुरी से प्रतीक्षा करते हुए बिताया जो अपने घर से ज्यादा अपनी वर्दी के थे।
एक कमांडिंग ऑफिसर की पत्नी के रूप में, वह लंबी अनुपस्थिति, खामोश चिंताओं और बिना कहे गुडबॉयज के भारी बोझ के बावजूद मजबूती से खड़ी रहीं। वह रेजिमेंट के लिए ताकत का स्तंभ बन गईं जिन्होंने अनगिनत सैनिकों की पत्नियों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए प्रेरित किया। आर्मी वाइव्स की बहादुरी मेडल्स और परेड्स से मापी नहीं जाती, बल्कि उन खामोश युद्धों से मापी जाती है जो वो परिवार को साथ रखते हुए परछाई में लड़ती हैं।”
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