CRPF जवान मुनीर अहमद की बर्खास्तगी: पाकिस्तानी नागरिक से शादी छिपाने का मामला
जैसलमेर ISI जासूस: CRPF ने एक चौंकाने वाले मामले में जवान मुनीर अहमद को पाकिस्तानी महिला मीनल खान से शादी छिपाने और राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरे में डालने के आरोप में तुरंत बर्खास्त कर दिया है। यह कार्रवाई जम्मू-कश्मीर से भोपाल में स्थानांतरण के एक दिन बाद की गई, जिसने सुरक्षा और अनुशासन के मुद्दों को उठाया है।
CRPF ने एक बयान में कहा, “यह गंभीर चिंता का विषय है कि 41 बटालियन के सीटी/जीडी मुनीर अहमद ने एक पाकिस्तानी नागरिक से अपनी शादी को छिपाया और जानबूझकर उसे वीजा की वैधता से अधिक समय तक शरण दी। उनके कार्यों को सेवा आचरण का उल्लंघन और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए हानिकारक पाया गया।”
विवाह और अनुमति का विवाद
विवाह और अनुमति विवाद
मुनीर अहमद ने 2023 में पाकिस्तान के सियालकोट की मीनल खान से शादी की अनुमति मांगी थी। हालांकि, उन्होंने बिना विभागीय मंजूरी के 24 मई 2024 को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से विवाह कर लिया। मीनल मार्च 2025 में भारत आईं, लेकिन उनका विजिटिंग वीजा 22 मार्च को समाप्त हो गया। इसके बाद उन्होंने दीर्घकालिक वीजा के लिए आवेदन किया।
पहलगाम हमले के बाद की स्थिति
पहलगाम हमले के बाद निर्वासन का खतरा
पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत सरकार ने पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा रद्द कर दिए, जिसके कारण मीनल को अटारी-वाघा सीमा पर निर्वासन के लिए भेजा गया। जम्मू-कश्मीर उच्च न्यायालय ने 30 अप्रैल को उन्हें 10 दिन की राहत दी। मीनल के वकील अंकुश शर्मा ने कहा, “मुनीर अहमद, जो सीआरपीएफ कांस्टेबल हैं, ने 2.5 महीने पहले पाकिस्तानी नागरिक मीनल खान से शादी की थी। वह विजिटिंग वीजा पर भारत आई थीं और फिर दीर्घकालिक वीजा के लिए आवेदन किया था।”
मीनल की अपील
मीनल की अपील
मीनल ने सरकार से परिवार को एकजुट रखने की अपील की। उन्होंने कहा, “हमें परिवार के साथ रहने की अनुमति दी जानी चाहिए।” साथ ही, “हम हमले में निर्दोष लोगों की बर्बर हत्या की निंदा करते हैं। उन्हें कड़ी सजा मिलनी चाहिए।” सीआरपीएफ ने मुनीर के खिलाफ विभागीय जांच शुरू की है, जिसमें वीजा नियमों के उल्लंघन और गलत बयानी के आरोप शामिल हैं।